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बाल्यावस्था की ऐतिहासिक अवधारणा तथा वर्तमान समय में इसमें हुए बदलाव
बाल्यावस्था की ऐतिहासिक अवधारणा
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- हर बच्चे का बचपन एक जैसा नहीं होता | क्यों? उदाहरण देते हुए स्पष्ट करें |
- बचपन की अवधारणा को स्पष्ट करें | इसके विकासात्मक परिप्रेक्ष्य को भी बतायें |
- बचपन को आकार देने में समुदाय के भूमिका का सोधारण व्याख्या करें |
- बाल्यावास्था की ऐतिहासिक अवधारणा क्या है? वर्तमान समय में इसमें क्या बदलाव हुआ है? करें |
- बाल्यावास्था को प्रभावित करने वाले कारकों की विस्तृत व्याख्या करें |
- बचपन को आकार देने में परिवार की भूमिका का सोदाहरण व्याख्या करें |
- बाल्यावास्था के विभिन्न आयामों को चिन्हित करें और वर्णन करें |
- “बाल्यकाल जीवन का अनोखा काल हैं |” इस कथन का स्पष्टीकरण दीजिये तथा इस काल की प्रमुख विशेषताओं का वर्णन कीजिए |
- बाल्यावस्था में शिक्षा दिए जाते समय किन बातों का ध्यान रखना चाहिए |
- बाल्यावस्था के दौरान मुख्य कारकों को बताइये। सभी कारकों की जो बाल्यावस्था को प्रभावित करती है, व्याख्या करें ।
- बाल्यावस्था की अवधारणा को ऐतिहासिक परिप्रेक्ष्य में विवेचना करें ।
- वृद्धि और विकास की अवधारणा में क्या अंतसंबंध है ? स्पष्ट करें |
- बच्चों के विकास के प्रमुख आयाम क्या है? उनमें से किसी एक आयाम के बारे में विस्तार से वर्णन करें |
- बाल विकास को समझाने में इरिक्सन का सिद्धान्त किस प्रकार सहायक है, सोदाहरण समझाएँ |
- मानव विकास के बुनियादी सिद्धांत क्या है । स्पष्ट करें |
- “कोहलवर्ग का नैतिक विकास सिद्धान्त” क्या है ? यह सिद्धान्त बच्चे के विकास हेतु कहाँ तक उपयोगी है |
- वृद्धि और विकास में अन्तर कीजिए | विकास के बुनियादी सिद्धान्तों का वर्णन करें |
- किशोरावस्था की विशेषताओं का विस्तृत वर्णन करें |
- किशोरावस्था की अवधारणा क्या है ? इनके प्रमुख मुद्दे की चर्चा करें ।
- समाजीकरण से आप क्या समझते है ? इसकी अवधारणा की सोदाहरण स्पष्ट करें |
- ब्रोनफेनब्रेनर के पारिस्थिकीय सिद्धान्त की विवेचना कीजिए| यह सिद्धान्त बच्चों में समाजीकरण को समझने में किस प्रकार सहायी है ?
- समाजीकरण की किन्हीं दो संस्थाओं की भूमिका की व्याख्या करें ।
- शिक्षार्थियों के समाजीकरण में संस्कृति की भूमिका का वर्णन करें |
- शिक्षार्थियों के सामाजीकरण में शिक्षा की भूमिका को स्पष्ट करें ।
- सामाजीकरण से आप क्या समझते हैं ? ब्रोनफेनब्रेनर के इकोलोजिकल सिस्टम सिद्धान्त की विवेचना करें |
- अधिगमकर्ता के सामाजीकरण में समुदाय की भूमिका का वर्णन करें ।
- सामाजीकरण से आप क्या समझते है? शिक्षा के समाजीकरण पर पड़ने वाले प्रभाव की चर्चा कीजिए ।
- शिक्षार्थी के समाजीकरण में परिवार एवं शिक्षक की भूमिका का वर्णन करें ।
- व्यक्तिगत विभिन्नताओं का क्या तात्पर्य है ? तथा इनके प्रकारों को भी लिखें |
- सामाजिक एवं सांस्कृतिक विविधता क्या है ? विद्यालयों में जाने वाले बच्चों के संदर्भ में बतलाएँ |
- धार्मिक विविधता क्या है? इसे शिक्षार्थियों के संदर्भ में बतलाएं |
- सृजनशीलता से आप क्या समझते है ? स्पष्ट करें |
- मानवीय विविधता की परिभाषा दें । अधिगमकर्ताओं के बीच पाये जाने वाले सामाजिक एवं सांस्कृतिक विविधता की विवेचना करें |
- भाषायी विविधता से आप क्या समझते है ? स्पष्ट करें |
Read also
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- समकालीन भारत और शिक्षा नोट्स (Contemporary India and Education Notes)
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- विषय पर अनुशासन को समझना नोट्स (Understanding Discipline on Subject Notes)
- पाठ्यक्रम में भाषा नोट्स (Language across the curriculum Notes)
- लिंग, स्कूल और समुदाय नोट्स (Gender, School and Society Notes)
- विज्ञान या सामाजिक विज्ञान का शिक्षाशास्त्र नोट्स (Pedagogy of School Social Science Notes)
- ज्ञान और पाठ्यक्रम नोट्स (Knowledge and Curriculum Notes)
- सीखने के लिए आकलन नोट्स (Assessment for Learning Notes)
- विद्यालय विषय का शिक्षाशास्त्र नोट्स (Pedagogy of School Subjects Notes)
- समावेशी स्कूल बनाना नोट्स (Creating an inclusive School Notes)
- पर्शियावरणीय शिक्षा नोट्स (Environment Education Notes)
Conclusion :-
इस पोस्ट में हमने बी.एड परीक्षा से संबंधित बाल्यावस्था का अर्थ, बाल्यावस्था की परिभाषाएँ, बाल्यावस्था की ऐतिहासिक अवधारणा क्या है? वर्तमान समय में इसमें क्या बदलाव हुआ है? स्पष्ट करें, बाल्यावस्था की मुख्य विशेषताएँ, बाल्यावस्था के विकासात्मक परिप्रेक्ष्य के बारे में देखा | आशा करता हूँ कि, ये पोस्ट आपके लिए बहुत मददगार साबित होगा | ऐसे ही और पोस्ट के लिए हमारे इस वेबसाइट Something Latest पर आते रहें. साथ ही नोटिफिकेशन के बेल को दबाकर हमारे वेबसाइट को सब्सक्राइब ज़रूर करें ताकि अगली पोस्ट की नोटिफिकेशन मिलती रहे. पोस्ट अगर अच्छा लगे तो अपने दोस्तों के साथ शेयर ज़रूर करें.
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